G20 समिट: पुतिन आखिर G20 में क्यों नहीं आ रहे, गिरफ्तारी का है डर या पड़ गए हैं अलग थलग ?
गौरतलब है कि रूस के राष्ट्रपति दिल्ली में होने वाली G20 समिट में नहीं आ रहे हैं। अभी हाल ही में हुए ब्रिक्स सम्मेलन में भी नहीं पहुंचे थे। ऐसे में सवाल उठता है कि आखिर पुतिन इन सम्मेलनों में शामिल होने के क्यों बच रहे हैं. क्यों पुतिन ऐसे किसी देश में नहीं जा रहे जो आईसीसी यानी कि अंतरराष्ट्रीय आपराधिक न्यायालय का सदस्य है?
तो आखिर क्या वजह है कि राष्ट्रपति पुतिन इन महत्वपूर्ण सम्मेलनों में शामिल नहीं हो रहे हैं। क्या पुतिन को भारत में गिरफ्तारी का डर है? आखिर G20 में क्यों नहीं आ रहे, इंटरनेशनल वारंट या कोई और वजह, इसी बारे में हम इस खबर में बात करेंगे…
उल्लेखनीय है कि पुतिन ने 2019 में आखिरी बार जापान में हुई G20 समिट में इन पर्सन शिरकत की थी। 2020 में रियाद और 2021 में रोम में हुई समिट में भी पुतिन वर्चुअली शामिल हुए थे। 2022 में बाली में हुई G20 समिट में भी रूसी राष्ट्रपति मौजूद नहीं थे। 28 अगस्त को पुतिन ने भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को बताया था कि वे G20 में शामिल नहीं हो सकेंगे। उनकी जगह रूस के विदेश मंत्री सर्गेई लावरोव भारत आएंगे।
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राजधानी दिल्ली में 8 सितंबर से लेकर 10 सितंबर के बीच में जी 20 सम्मेलन होने वाला है। इस सम्मेलन में अलग अलग देशों के नेता भारत पहुंचेंगे। सम्मेलन की तैयारियां भी अपने अंतिम चरण में हैं और पूरा देश समिट में शामिल होने वाले नेताओं की मेजबानी करने के लिए तैयार है।
आपको बता दें कि साल 2022 के फरवरी महीने में रूस ने यूक्रेन पर हमला कर दिया था, जिसके बाद मार्च 2023 को अंतरराष्ट्रीय आपराधिक न्यायालय ने पुतिन के खिलाफ वारंट जारी किया था।
जी-20 में क्यों शामिल नहीं हो रहे पुतिन :
अब रूस की तरफ से ये आधिकारिक बयान आया है कि पुतिन जी-20 सम्मेलन में हिस्सा नहीं लेंगे, लेकिन इसकी कई वजहें बताई जा रही है। पहली वजह रूस यूक्रेन वॉर है।
अभी बताया गया है कि पुतिन का सारा ध्यान वहां पर है। अभी कुछ दिनों पहले वेगनर चीफ प्रिगोझिन की प्लेन क्रैश में मौत हो गई। जिसे कुछ लोग हत्या का नाम भी दे रहे हैं क्योंकि उसने रूस के राष्ट्रपति के खिलाफ आवाज उठाई थी।
तो कई मीडिया रिपोर्ट्स में ये भी कहा जा रहा है कि रूस के राष्ट्रपति को इस बात की चिंता भी है कि कहीं वेगनर आर्मी हमला न कर दे। ऐसे में इन सभी परिस्थितियों के संभल जाने तक रूस के राष्ट्रपति का कही और जाना सुरक्षित नहीं होगा।
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पुतिन को गिरफ्तार करना कोई खेल नहीं :
इन सब में पुतिन की गिरफ्तारी की बात भी कही जा रही है लेकिन पुतिन की गिरफ़्तारी इतनी आसान भी नहीं है। एक तो जब आईसीसी ने ये अरेस्ट वारंट निकाला था उस समय भी रूस ने इसका विरोध किया था और अगर पुतिन को कही गिरफ्तार किया भी गया तो इसका साफ़ मतलब होगा विश्व युद्ध-3 होना क्युकी दुनिया की महाशक्तियों में शुमार रूस अपने राष्ट्रपति की गिरफ्तारी को कभी बर्दाश्त नहीं करेगा।
इसके साथ ही इंटरनेशनल क्रिमिनल लॉ के तहत हेड ऑफ़ स्टेट को कई इम्मुनिटीज़ दी जाती है। तो रूस के राष्ट्रपति के लिए भी वो नियम लागू होता है। इसलिए पुतिन की गिरफ़्तारी इतनी आसान नहीं है।
पीएमओ ने बताया पुतिन नहीं आएंगे :
पीएमओ ने बताया कि राष्ट्रपति पुतिन ने 9-10 सितंबर 2023 को नई दिल्ली में जी20 शिखर सम्मेलन में भाग लेने में असमर्थता व्यक्त की और बताया कि रूस का प्रतिनिधित्व रूसी संघ के विदेश मंत्री सर्गेई लावरोव करेंगे।
रूस के फैसले पर सहमति व्यक्त करते हुए प्रधानमंत्री ने भारत की जी 20 अध्यक्षता के तहत सभी पहलों को रूस के लगातार समर्थन के लिए राष्ट्रपति पुतिन को धन्यवाद दिया।