रीवा: सड़क में घायल पड़े गाय और बछड़े को एनजीओ संचालक ने अपनी गाडी में ले जाकर किया उपचार
सड़क में घायल पड़े गाय और बछड़े को अपनी नई गाड़ी में लोड कर उपचार के लिए पहुंचाया एनजीओ संचालक ने दिया मानवता का संदेश
रीवा: आवारा जानवरों के कारण आए दिन सड़क दुर्घटनाएं घटित होती है। एक तरफ जहां राहगीरों की जाने जा रही है तो वहीं पूरे सड़क में मृत जानवरों के शव बिखरे दिखते है। कहने के लिए तो कई सामाजिक संगठन चल रहे हैं जो गोवंसो के लिए कार्य कर रहे हैं लेकिन समय पड़ने पर सभी अपना पल्ला झाड़ लेते है।
ताजा मामला रीवा मनगवां नेशनल हाईवे का है, जहां बीती रात्रि एक गाय और बछड़े को अज्ञात वाहन ने कुचल दिया, जिसमें दोनों के पैर जख्मी हो गए, तभी रास्ते से निकल रहे अंकित सिंह बघेल महगना और सौरव सिंह चंदेल ने मानवता का परिचय देते हुए मौके पर रुके और कई सामाजिक संगठनों के साथ-साथ नगर निगम को सूचना दी, लेकिन कोई गोवंशो की मदद के लिए नहीं पहुंचा, जिसके बाद दोनों युवकों ने एनजीओ संचालिका रूपा सिंह द्विवेदी को फोन कर जानकारी दी तो उन्होंने रात में ही अपने घर दोनों जानवरों को पहुंचाने की बात कही।
लेकिन मुसीबत यह थी कि बोलेरो गाड़ी में दो जानवरों को लोड कर उपचार के लिए नहीं पहुंचा जा सकता था, जब युवकों ने यह समस्या रूपा सिंह को बताई तो उन्होंने तत्काल अपने पति शाश्वत सिंह को मौके पर भेजा जिन्होंने अपनी नई सफारी गाड़ी में खून से लथपथ गाय को लोड कर घर ले गए और उपचार किया।
दरअसल इस खबर को दिखाने के पीछे का उद्देश्य यह है कि कहने को तो कई समाजसेवी गौशाला संचालक और एनजीओ संचालक सोशल मीडिया में गायों की सेवा दिखाकर वाहवाही लूटते हैं भाजपा सरकार भी गोवंश हितैषी बनकर कई गौशाला संचालन करने के साथ-साथ चलित उपचार एंबुलेंस संचालित कर रही है लेकिन वास्तविकता क्या है इस घटना ने उजागर कर दिया है ,आइए आपको दिखाते हैं किस तरह से सड़क में पड़े खून से लथपत जानवरों को परसनल वाहनों में लोड कर उपचार के लिए पहुंचाया गया और सुनाते हैं उक्त दोनों युवकों को जो रास्ते में तड़प रहे गाय और उसके बछड़े को उपचार के लिए एनजीओ संचालिका के शारदा पुरम स्थित आवास पहुंचाया।