रीवा: आयुक्त की प्रभावी पहल पर पीड़ित को मिलेगा मुआवजा, पढ़िए क्या है माजरा

  • आयुक्त की प्रभावी पहल पर 16 वर्ष पश्चात राजमणि को
  • अपनी भूमि में लगे पेड़ों का मिलेगा मुआवजा

रीवा: सतना जिले के रामनगर के ग्राम मिगरौती के किसान राजमणि गौतम की ग्राम सनगा में स्थित 8 एकड़ भूमि बाणसागर बांध के डूब क्षेत्र में आने के कारण जल संसाधन विभाग द्वारा अधिग्रहीत कर ली गई थी और सतना जिले में स्थिति यूनिट क्रमांक 4 भू-अर्जन विभाग द्वारा राजमणि गौतम की अधिग्रहीत की गई भूमि के प्रतिकर की राशि का भुगतान वर्ष 2003-2004 में ही कर दिया गया था लेकिन भूमि में लगे 1200 फलदार वृक्षों के प्रतिकर की राशि का भुगतान नहीं किया गया।

किसान राजमणि गौतम ने बताया कि फलदार वृक्षों के प्रतिकर की राशि के लिए भू-अर्जन कार्यालय के चक्कर लगाते-लगाते कई वर्ष बीत गए लेकिन कुछ नहीं हुआ। थकहार कर संभागीय आयुक्त श्री अनिल सुचारी से मिलकर फलदार वृक्षों की प्रतिकर की राशि न मिलने की जानकारी दी। इस पर कमिश्नर ने बाणसागर के प्रशासक छोटे सिंह को निर्देश दिए कि प्रकरण का निराकरण कर तुरंत पेड़ों के मुआवजे का भुगतान किया जाय।

संभागायुक्त के प्रभावी पहल के कारण शीघ्र ही किसान राजमणि गौतम को डूब क्षेत्र में आए फलदार वृक्षों की प्रतिकर की राशि का भुगतान किया जाएगा। राजमणि गौतम ने कहा कि यदि संभागायुक्त मुआवजे की राशि के भुगतान की कार्यवाही नहीं करते तो शायद अभी भी भू-अर्जन कार्यालय के चक्कर लगाता रहता। 

किसान राजमणि ने बताया कि बाणसागर बांध के डूब क्षेत्र में भूमि के आने पर डूब प्रभावित भूमि के प्रतिकर की राशि का भुगतान तो कर दिया गया लेकिन वृक्षों जो कि आराजी नम्बर 200/3 में 120 नग अमरूद के पेड़, आराजी नम्बर 223/2 में मौसम्मी के 250 वृक्ष, आराजी नम्बर 293/1 च में मौसम्मी के 235 पेड़, आराजी नम्बर 188/3 में अमरूद के 250 पेड़ लगे थे, के प्रतिकर की राशि का भुगतान नहीं किया गया और भूमि भी खाली करा ली गई। उन्होंने बताया कि फलदार वृक्षों के प्रतिकर की राशि न मिलने के कारण वर्ष 2007-2008 से भू-अर्जन कार्यालय के चक्कर लगाना प्रारंभ किया।

इसी बीच शासन के निर्देश पर भू-अर्जन कार्यालय यूनिट क्रमांक 4 सतना को समाप्त कर भू-अर्जन यूनिट क्रमांक 6 रीवा में समाहित कर लिया गया। अब तो फलदार वृक्षों के प्रतिकर की राशि के भुगतान की फाइल ही मिलनी बंद हो गई। इसी बीच जल संसाधन विभाग के अपर मुख्य सचिव को पत्र प्रेषित किया लेकिन प्रकरण लंबित ही रहा।

उन्होंने बताया कि 18 नवम्बर 2022 को संभागीय आयुक्त से मिलकर फलदार वृक्षों के प्रतिकर की राशि का भुगतान कराने के लिए आवेदन दिया। इस संबंध में उन्होंने बाणसागर के प्रशासक छोटे सिंह को प्रकरण के निराकरण के लिए निर्देश दिए। इसके पश्चात भू-अर्जन के प्रशासक को निर्देश दिए गए। कमिश्नर की प्रभावी पहल पर किसान राजमणि गौतम को फलदार पेड़ों के प्रतिकर की राशि का भुगतान किया जाएगा। 

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